Monday, September 15, 2008

ओबीसी कोटे के बाद खाली सीटें जनरल मानी जाएंगी

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि आईआईटी और आईआईएम जैसे केंद्रीय संस्थानों में ओबीसी कोटा लागू किए जाने के बाद बची सीटें जनरल कैटिगरी के लोगों को दी जाएंगी। यह भी ध्यान रखना होगा कि कटऑफ अंकों में बड़ा अंतर न हो। चीफ जस्टिस के. जी. बालकृष्णन की अध्यक्षता वाली पांच जजों की बेंच इस बात पर एकमत थी कि इस मुद्दे पर कोई भ्रम नहीं है, क्योंकि तीन जजों ने साफतौर पर कहा है कि कोई सीट खाली नहीं रहेगी। कोटा विरोधी याचिकाकर्ताओं ने बेंच का ध्यान इस ओर दिलाया कि आरक्षण लागू करने के बाद भी सीटें खाली रह गई हैं और भ्रम बना हुआ है। सीनियर वकील के. के. वेणुगोपाल ने खाली पड़ी सीटों को बेकार नहीं जाने देने पर रुख साफ करने के लिए दो फैसलों का हवाला दिया। इनमें से एक जस्टिस अरिजित पसायत और सी. के. ठक्कर और दूसरा जस्टिस दलवीर भंडारी ने लिखा है। सॉलिसिटर जनरल जी. ई. वाहनवती ने कहा कि वह खाली सीटों के बारे में केंद्र से निर्देश हासिल करने के बाद अदालत के पास वापस आएंगे। बेंच ने मामले की आगे की सुनवाई के लिए 29 सितंबर की तारीख तय की है।